Wednesday, October 15, 2025

विश्व गुरु कहलायेगा

क्या रसखान सूर तुलसी 
का जमाना फिर आयेगा, 
क्या भय से पथराया जग 
फिर से प्रेम गीत गायेगा ?

क्या नफरत के समाज में 
फिर से भाईचारा आयेगा,
ढाई आखर प्रेम का बोल 
फिर से समाज में गूँजेगा। 

क्या मीरा का भक्ति-प्रेम 
तुलसी की चौपाई राजेगी,
हिंसा-घृणा की दीवार टूट 
जीवन की गरिमा गाजेगी। 

क्या सत्य अहिंसा का पथ
फिर से जीवन राह बनेगा,
मेरा प्यारा भारत फिर से
विश्व गुरु कहलायेगा। 🌼













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