मन समझता है
एक सुबह
उस दिन हुयी थी
जब तुम मेरे साथ थी
और एक सुबह
आज हुयी है जब
तुम मेरे साथ नहीं हो
मेरा मन समझता है
दोनों में कितना
अन्तर है।
एक सुबह
उस दिन हुयी थी
जब तुम मेरे साथ थी
और एक सुबह
आज हुयी है जब
तुम मेरे साथ नहीं हो
मेरा मन समझता है
दोनों में कितना
अन्तर है।
तुम जो साथ नहीं हो
जब तक तुम मेरे साथ थी
मुझे नदी, नाले
पहाड़, उमड़ते बादल
हरे-भरे खेत और
खलिहान
सभी बहुत अच्छे लगते थे
अच्छे तो वो आज भी है
लेकिन अब अकेले में
मुझे यह सब
अच्छे नहीं लगते।
मुझे यह सब
अच्छे नहीं लगते।
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